भोजपुरी भाषा साहित्य के एगो नया पहिचान दिहलसि "पाती"

paati-samman13“भोजपुरी दिशाबोध के वैचारिक साहित्यिक पत्रिका “पाती” एगो अइसन रचनात्मक मंच ह जवन भोजपुरी भाषा साहित्य के एगो नया पहिचान दिहलसि. एकरा रचनात्मक आंदोलन से जुड़ के अनेके लेखक राष्ट्रीय स्तर पर आपन पहचान बनवलन.” ई कहना रहल डा.श्रीराम सिंह के जे विश्व भोजपुरी सम्मेलन के बलिया ईकाई का ओर से द्वारा बलिया के कुंवर सिंह इंटर कालेज में आयोजित पाती अक्षर सम्मान समारोह के अध्यक्षता करत रहलें.

एह आयोजन के शुरुआत मुख्य अतिथि दयाशंकर तिवारी आ विश्व भोजपुरी सम्मेलन के राष्ट्रीय सचिव डा.अशोक द्विवेदी माँ सरस्वती के छवि पर फूलमाला चढ़ा के कइलन. एकरा बाद पाती के संपादक आ अध्यक्ष मशहूर भोजपुरी कवि आनंद संधिदूत आ शंभूनाथ उपाध्याय के अंगवस्त्रम, स्मृति चिन्ह, प्रमाण पत्र आ नारियल देके सम्मानित कइल लोग. एकरा बाद अक्षर सम्मान आ स्मृति चिन्ह कथा लेखन में खास काम कइला खातिर मशहूर कथाकार राजगुप्त आ मशहूर युवा कथाकार डा.विष्णुदेव के दिहल गइल. एकरी बाद चर्चित रचनाकार रमेश चंद्र के हालही में प्रकाशित कहानी संग्रह ‘चिमनी के धुंआ’ के विमोचन डा.प्रकाश उदय आ मुख्य अतिथि दयाशंकर तिवारी का हाथे भइल. एह कहानी संग्रह का बारे में डा. प्रकाश उदय कहलन कि लेखक रमेश चंद्र समाज के विसंगतियन आ आजु के सच्चाउ उजागर कइला क साथही सोद्देश्य लेखन करत बाड़ें.

समारोह के दुसरका सत्र में एगो प्रतिनिधि कवि सम्मेलन के आयोजन भइल जवना में मऊ से आइल कवि डा.कमलेश राय, आ डा.दयाशंकर तिवारी, वाराणसी से पधारल डा.प्रकाश उदय, मिर्जापुर से आनंद संधिदूत, गाजीपुर से मिथिलेश गहमरी आ अक्षय कुमार पांडेय क साथ ही डा.अशोक द्विवेदी, शंभुनाथ उपाध्याय, विजय मिश्र, हीरा लाल हीरा, शिवजी पांडेय रसराज, बृज मोहन प्रसाद अनारी, अनंत प्रसाद राम भरोसे, शशि प्रेमदेव, कन्हैया पांडेय, जनार्दन चतुर्वेदी वगैरह आपन कविता पाठ कइलन.

दुनु सत्र के संचालन कौशलेंद्र कुमार सिन्हा कइलन.

2 Comments

  1. amritanshuom

    ‘पाती’ के पहरुआ लोग हमेशा से भोजपुरी के प्रति समर्पित बा आ आगे भी रही .नया -नया काम आ इतिहास बनावे खातिर’ पाती’ के लोग हमेशा से डट के काम करेला .’पाती’ से जुडल सभे भोजपुरिया रचनाकार लोगन के बहुत -बहुत बधाई आवरू धन्यवाद .

  2. amritanshuom

    ‘पाती’ के पहरुआ लोगन के बहुत -बहुत बधाई आ धन्यवाद .

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