देश के खेती नीति पर फेरु से विचार करे के जरूरत बतवलन नरेन्द्र मोदी

गांधीनगर में आजु वाइब्रेट गुजरात ग्लोबल एग्रीकल्चर समिट.. के उद्घाटन करत गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी कहलन कि देश के खेती नीति पर फेरु से नया सिरा से विचार कइला के जरूरत बा. आ एह खातिर नया शोध आ अनुभव के सहारा लेबे के चाहीं. मोदी कहलन कि देश में खेती जोग जमीन में बढ़ोतरी नइखे होत लिहाजा सीमित जमीन में अधिका उपजावे पर धेयान लगावे के पड़ी. खाली खेति वाली जमीन बचवले से काम नइखे चले वाला.

अनेके किसानन के खुदकुशी पर चिंता जतावत नरेन्द्र मोदी कहलन कि करजा के बोझा से दबाइल किसान मजबूर हो गइल बाड़ें जान देबे ला. बहुते कम किसानन के मालूम बा कि ऊ खेती के काम ला बैंक से करजा ले सकेलें. एगो रिपोर्ट के हवाला देत मोदी कहलन कि आज लगभग अढ़ाई लाख किसान खेती छोड़ दोसर काम करे लागल बाड़े खेती खातिर ई खतरा के घंटी बा. कहलन कि किसानन के प्रकृति के रहमोकरम पर ना छोड़ल जा सके. केन्द्र सरकार पर निशाना साधत नरेन्द्र मोदी इहो कहलन कि ऊ अढ़ाई साल पहिले केन्द्र के कुछ सुझाव दिहले रहन बाकिर अबहीं ले ओह दिसाई कुछु ना कइल गइल.(वार्ता)

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